वरिष्ठ पत्रकार.बटाला गुरदासपुर।
पत्रकारिता की पहचान को धूमिल करने तथा उसे धब्बा लगाने वाले एक यू-टयूबर पत्रकार रमेश बहल को बटाला पुलिस ने गिरफ्तार किया। गिरफ्तार यू-टयूबर रमेश बहल पर फर्जी खबर चलाने का संगीन आरोप लगा है। थाना सिविल लाईन में उसके खिलाफ आईटी एक्ट की धारा सहित अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया। गिरफ्तारी 13 जून को हुई। पूर्व में आधा दर्जन के करीब आपराधिक मामले दर्ज है। आरोप है कि बटाला के एक मोहल्ला में किसी बीमारी की वजह से हुई युवक की मृत्यु को नशे की डोज लेने का कारण बताकर उसे अपने यूट्यूब चैनल पर प्रसारित किया गया। इसके उपरांत सोशल मीडिया में वायरल कर दिया गया। पुलिस ने पीड़ित परिवार के बयान के आधार पर लिखित तौर पर ली गई शिकायत पर यह मामला दर्ज किया गया। फिलहाल, अदालत ने कथित अपराधी को 3 दिन की पुलिस न्यायिक हिरासत में भेज दिया। इस मामले में एक अन्य के खिलाफ भी मामला दर्ज हुआ। फिलहाल उसकी गिरफ्तारी होना शेष है। इस बात की पुष्टि, डीएसपी ने मंगलवार को रखी प्रेस वार्ता में की।
वार्ड नंबर-13 में स्थित मोहल्ला शंकरपुरा में सागर नामक एक युवक कुछ दिन पहले बीमार हुआ। परिवार ने उसे अस्पताल में इलाज के लिए दाखिल करवाया। ईलाज के दौरान युवक की मृत्यु हो गई। आरोप है कि यूट्यूबर रमेश बहल उक्त मोहल्ला में पहुंच गया। वहां पर पीड़ित परिवार की इंटरव्यू किया। आरोप है कि बाद में बहल उस इंटरव्यू में ये बताता है कि इस मोहल्ले में सरेआम नशा बिकता है। नशे की ओवरडोज की वजह से युवक की मृत्यु हुई। ये वीडियो सोशल मीडिया में काफी चर्चित हो जाती है।
मामला जब पुलिस के अधिकारियों के पास पहुंचा तो उन्होंने इसे काफी गंभीरता से लिया। वीडियो की सच्चाई जानने के लिए डीएसपी तथा इंस्पेक्टर के नेतृत्व में एक टीम उक्त मोहल्ला जाती है। टीम पीड़ित परिवार से मुलाकात करती है। पीड़ित परिवार पुलिस को लिखित तौर पर बताता है कि उनका बेटा नशा बिल्कुल ही नहीं करता है। मृत्यु बीमार होने की वजह से हुई। इसी प्रकार उक्त मोहल्ला के रहने वाले सुखविंदर सिंह तथा स्थानीय वार्ड पार्षद ने लिखित तौर पर अपना बयान दिया कि यहां पर कोई नशा नहीं बिकता है। जानबूझकर बदनाम करने की नीयत से इस वीडियो को सोशल मीडिया में अपलोड किया गया। बयान दर्ज करने के बाद पुलिस ने रमेश बहल तथा एक अन्य के खिलाफ थाना सिविल लाईन में आईटी एक्ट सहित अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया गया।
…कौन है रमेश बहल, कैसे करता है ब्लैकमेल, जानिए, खास रिपोर्ट में…?
बताया जाता है कि रमेश बहल पत्रकारिता के पेशे में कुछ साल पहले आया। वह पीछे से जालंधर शहर का रहने वाला है। बटाला में किसी किराए के मकान में रहता है। मकान मालिक के साथ भी किराए को लेकर विवाद हुआ था। सूत्र बतातें है कि वह बटाला के किसी होटल में एक समय काम करता रहा। जालंधर से जुड़े एक छोटे समाचार में कुछ समय के लिए काम किया। जब उन्हें पता चला है कि वह पत्रकारिता की आड़ में लोगों को ब्लैकमेल करता है, तथा उसे बाहर का रास्ता दिखा दिया। पता चला है कि उसने कई राजनीतिक तथा सामाजिक वर्ग से जुड़ी कई हस्तियों को ब्लैकमेल किया। उनसे मोटे पैसे भी ऐंठे। इतना ही नहीं, इसके खिलाफ देश-विदेश की एक शिक्षा संस्थान के प्रिंसिपल को ब्लैकमेल करने का भी संगीन आरोप लगा। खबर को हटाने के लिए पांच लाख रुपए की मांग करने का भी आरोप लगा था। इस मामले में तत्कालीन जिला पुलिस के पास शिकायत पहुंची तो इसके खिलाफ कई संगीन धाराओं के अधीन मामला दर्ज कर लिया गया। यह मामला फिलहाल कोर्ट में विचाराधीन है। इसी प्रकार एक महिला ने दुराचार का आरोप लगाया था। बताया जाता है कि यह मामला पंजाब एंड हरियाणा उच्च न्यायालय में विचाराधीन है। 3 साल पहले कथित अपराधी ने एक सरकारी चिकित्सक को ब्लेकमेल किया था। सूत्रों से पता चला है कि उस मामले में कथित अपराधी ने महिला चिकित्सक से खबर को नहीं प्रसारित करने के लिए 10 लाख की मांग की थी। तब उस समय अफवाह यह भी थी, उस मामले में कथित अपराधी का साथ पत्रकार यूनियन के पंजाब अध्यक्ष, जिला प्रधान तथा राजनीति से जुड़े एक बड़े कद के नेता ने दिया। इसी प्रकार से सरकारी अस्पताल के पास कुछ मेडिकल स्टोर में नशे की दवा का अवैध कारोबार चलता था। कथित अपराधी को उनके बारे पता चला तो उन्हें ब्लैकमेल करना आरंभ कर दिया। यह सिलसिला काफी लंबे समय तक चलता रहा। एक पटवारी को ब्लैकमेल करने का भी संगीन आरोप लगा था।
हिंदू संगठनों का कथित अपराधी के सिर पर हाथ
पता चला है कि कथित अपराधी के सिर पर कुछ हिंदू संगठनों के बड़े-बड़े नेताओं का हाथ है। वे लोग इसके हर बुरे काम में सहयोग देते है। मालूम हुआ है कि वह उनके हाथों का एक तरह से यह मोहरा है। समय-समय पर वो लोग अपना मतलब निकालने के लिए इसका इस्तेमाल करते है। बदले में वे लोग इसकी आर्थिक मदद भी करते है। पुलिस सूत्रों से यह भी पता चला है कि जो-जो लोग कथित अपराधी का साथ देते है, उन्हें भी जांच में शामिल किया जा सकता है। अगर किसी प्रकार का कोई आरोप साबित होता है तो उनके खिलाफ भी पुलिस की तरफ से कानूनी तौर पर कार्रवाई हो सकता है।
बहल एक पत्रकार यूनियन का है पंजाब अध्यक्ष
बताया जा रहा है कि कथित अपराधी एक पत्रकार यूनियन का पंजाब अध्यक्ष है। शर्म की बात है इस यूनियन का प्रमुख भी जेल की सलाखों के पीछे है। उसे पिछले कुछ माह पहले लोगों को ब्लैकमेल करने का आरोप लगा था, जिसमें उसकी गिरफ्तारी हुई थी। अब बटाला पुलिस ने पंजाब अध्यक्ष को फर्जी खबर चलाने के आरोप में गिरफ्तार किया है।
एक चिकित्सक करता है इसकी कानूनी मदद
सूत्रों से पता चला है कि पंजाब का एक मशहूर चिकित्सक इसके हर बुरे काम में सहयोग देता है। इतना ही नहीं अदालत से जमानत दिलाने से लेकर उच्च न्यायालय के लिए एक अच्छा वकील मुहैया कराने तथा उन्हें अपनी जेब से लाखों रुपए की फीस तक अदा करता है। सूत्रों से पता चला है कि पिछले 2 आपराधिक केस में कथित अपराधी को हाईकोर्ट के लिए उक्त चिकित्सक ने लाखों रुपए अपनी जेब से पैसे खर्च कर वकील करके दिया था। ऐसा इसलिए क्योंकि कथित अपराधी उक्त चिकित्सक के हर बुरे कार्य में उसका साथ देता है। इतना ही नहीं कानूनी दाव पेंच में उक्त चिकित्सक का झूठा गवाह बनने से भी नहीं पीछे हटता है।
..शायद ये अपराधी नहीं बनता, अगर ये लोग इसका साथ नहीं देते
कहते है कि रमेश बहल को अपराधी तथा ब्लैकमेलिंग की राह पर चलाने के लिए यहां के कुछ स्थानीय पत्रकार, पत्रकार यूनियन, राजनीति से जुड़े नेता तथा कुछ हिंदू संगठन के नेता ने अपना-अपना उल्लू सीधा करने के लिए इसका (रमेश बहल) इस्तेमाल किया। इतना ही नहीं साथ देने वाले वे सब लोग कभी आगे नहीं आए, सिर्फ रमेश बहल को ही आगे आने दिया। बताया जाता है कि बटाला का एक पत्रकार जो किसी समय एक राष्ट्रीय समाचार का स्थानीय इंचार्ज रह चुका है। वह पत्रकारिता के आड़ में मेडिकल का गोरखधंधा, लैंड माफिया तथा इतना ही नहीं सरकारी नौकरी भी कर रहा है, उसने उक्त यूट्यूबर को अपने स्वार्थ के लिए खूब इस्तेमाल किया। पता चला है कि अब ये लोग रमेश बहल के सलाखों के पीछे जाने पर खुशी मना रहे है तथा पुलिस को उसके खिलाफ कई सबूत भी दे रहे है, ताकि, उसके खिलाफ पुलिस और अन्य मामले दर्ज कर लंबे समय के लिए सलाखों के पीछे धकेल दें। कुछ लोग यह भी कहते है कि अगर रमेश बहल इन लोगों की बातों में नहीं आता तो शायद कभी अपराधी ही नहीं बनता तथा एक अच्छा जीवन व्यतीत करता हुआ नजर आता।