एसएनई नेटवर्क.अमृतसर/चंडीगढ़।
सीबीआई ने नशा तस्करी से जुड़े एक मामले में एआईजी रछपाल सिंह समेत 10 पुलिसकर्मियों के खिलाफ विशेष अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया है। अन्य आरोपियों में इंस्पेक्टर सुखविंदर सिंह, सब इंस्पेक्टर प्रभजीत सिंह व बलविंदर सिंह, थानेदार कुलविंदर सिंह, थानेदार सुरजीत सिंह, थानेदार कुलबीर सिंह, थानेदार बेअंत सिंह, कुलवंत सिंह और हवलदार हीरा सिंह शामिल हैं।
क्या था पूरा प्रकरण, जानिए, इस खबर में…?
इस मामले में बलविंदर सिंह निवासी भूरा करीमपुरा पट्टी अमृतसर ने साल 2021 में हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। इसमें उसने दलील थी कि पुलिस ने उसे सिविल अस्पताल पट्टी से उठाया था। बाद में उस पर हेरोइन का केस दर्ज कर लिया था। हेरोइन की कमर्शियल मात्रा दिखा दी गई थी। इसके बाद इस मामले की जांच आईपीएस स्तर के अधिकारी ने की।
पड़ताल में पाया गया कि गुरजंट सिंह उर्फ सोनू नाम के व्यक्ति से एक किलोग्राम हेरोइन बरामद हुई थी और यह पूरी हेरोइन बलविंदर सिंह के नाम पर दिखा दी गई, जबकि गुरजंट सिंह को रिहा कर दिया गया था और पुलिस ने एक फर्जी कहानी पेश की।
यह बताया गया था
पुलिस ने अपनी कहानी में बताया था कि पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि पाकिस्तान के तस्करों से संबंध रखने वाला एक व्यक्ति स्विफ्ट कार से भिखीविंड से अमृतसर जा रहा था।
इंस्पेक्टर सुखविंदर सिंह ने उसकी कार को रोका तो बलविंदर सिंह से एक किलोग्राम हेरोइन बरामद हुई। उससे पूछताछ में मेजर सिंह और भौर सिंह के नाम सामने आए। भौर सिंह और मेजर सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया। दोनों की पाकिस्तान के तस्करों से संबंध होने की बात सामने आई थी। उन्होंने पाकिस्तान के तस्करों से तीन लाख रुपये में हेरोइन खरीदी थी।
कॉल डिटेल से खड़े हुए थे सवाल
मेजर सिंह ने बताया था कि भौर सिंह के खेतों में हेरोइन की एक और खेप दबी है। इसके बाद पुलिस को खेत से चार किलो 530 ग्राम हेरोइन, एक पिस्टल, तीन मैगजीन और 56 कारतूस मिले। पुलिस ने बाद में बलविंदर सिंह, मेजर सिंह और भौर सिंह के खिलाफ अमृतसर की अदालत में चार्जशीट पेश की। वहीं बलविंदर सिंह के खिलाफ सप्लीमेंट्री चार्जशीट दाखिल की। इसमें गुरजंट सिंह का जिक्र नहीं था। हालांकि सीबीआई ने जैसे ही मामले की जांच की तो बलविंदर सिंह को अस्पताल से लेकर जाने का वीडियो हासिल लिया। इसके बाद कॉल डिटेल ने भी पुलिस कार्रवाई पर सवाल खड़े कर दिए थे।