एसएनई न्यूज़.चंडीगढ़
।भारतीय सुरक्षा बल का 15 किलोमीटर दायरा से बढ़ाकर अब 50 किलोमीटर करने का फैसला देश के केंद्रीय सरकार का एक अच्छा फैसला है, जबकि कांग्रेस जैसी विपक्षी पार्टी को शुरू से राष्ट्रीय मुद्दे पर सवाल खड़े करना उसकी आदत रही है। अब इस मुद्दे को लेकर पंजाब की कांग्रेस के साथ-साथ , शिअद ने भी केंद्र को इस मुद्दे पर घेरना शुरू कर दिया। पंजाब की कांग्रेस ने तो इतना तक कह दिया कि केंद्र ने इस मुद्दे पर सलाह तक नहीं ली गई। मगर, जानकारों की मानें तो उनके मुताबिक यह फैसला ठीक है तथा इससे उस पार पाकिस्तान से गलत हरकतों को अंजाम देने वालों पर नकेल कसेगी।
इस मुद्दे पर पूर्व सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने केंद्र की तरफ से लिए फैसले को अच्छा कदम बताते कहा कि जरुरत तथा समय के मुताबिक बीएसएफ का दायरा बढ़ाना वक्त की जरूरत थी। उन्होंने तो कई बार इस मुद्दे को लेकर केंद्रीय मंत्रियों के साथ मुलाकात करके इस बारे विस्तार पूर्वक जिक्र किया था। अब बीएसएफ को 50 किलोमीटर दायरे के भीतर संदिग्धों की तलाशी लेने में काफी आसानी होगी। नहीं तो कई बार ऐसा भी सामने आया कि बीएसएफ के दायरे बाद कई जगह देश के विरोध संदिग्ध गतिविधियां चलती थी, जबकि पुलिस उसे रोक पाने में असफल रहती थी। अब ऐसा बिल्कुल नहीं होगा।
राजनीति करने वाले नेताओं को शायद अपने राष्ट्र की चिंता कम, जबकि अपनी सियासी रोटियां सेकना अधिक अच्छा लगता है। उन्हें राजनीति से ऊपर राष्ट्रवाद को प्राथमिकता देने का काम करना चाहिए, अगर नहीं तो अपने पड़ोसी दुश्मन देश के राजनेताओं से सीख ले लेनी चाहिए, जिन्हें अपने राष्ट्र के प्रति और कुछ ऊपर नहीं है कि तालीम हासिल है। हमारे देश के राजनेताओं को तो सिर्फ राजनीति करनी आती है। उनके लिए देश की कोई अहमियत नहीं है।
कांग्रेस वह राष्ट्रीय पार्टी है, जिसने भारतीय सेना पर समय-समय पर सवाल खड़े किए है। इतना ही नहीं बालाकोट हमले दौरान कांग्रेस पार्टी के नेताओं ने इतना तक कह दिया था कि वहां पर कोई हमला ही नहीं हुआ। इसके लिए प्रमाण भी मांग लिए गए। बेशर्म नेताओं अगर देश में बेईमानी , भ्रष्टाचार करना ही है तो देश की सेना से सवाल क्यों कर रहे हों। एक सैनिक अपने प्राण को न्योछावर कर देश की खातिर शहादत देता है, जबकि आप लोग अपनी सुरक्षा में दर्जन भर सुरक्षा कर्मियों को लेकर घूमते है।
अब सीमा सुरक्षा बल के अधिकारियों का दायरा बढ़ने से बिना वारंट तथा बिना पूछे तलाश कर संदिग्ध समान को जब्त किया जा सकेगा। पंजाब के अमृतसर, गुरदासपुर, पठानकोट, तरनतारन, फिरोजपुर, फाजिल्का के साथ पाकिस्तान की सरहद लगती है। अधिकतर केस में सामने आया है कि सीमा सुरक्षा बलों की नजरो से कई बार बचकर देश विरोधी ताकतें पुलिस के अधीन क्षेत्र में अपना काम कर पाने में सफल हो जाती थी, अब ऐसा बिल्कुल नहीं होगा। क्योंकि , बीएसएफ के पास वो हर विंग है, जिसके बदौलत हर संदिग्ध गतिविधि को बीएसएफ पलक झपकते ही पकड़ सकती है।
बताया जा रहा है कि सीमा सुरक्षा बलों के अधीन कुल 27,600 किलोमीटर का दायरा आएंगा। अगर पंजाब के कुल क्षेत्र की बात करें तो 50,362 किलोमीटर वर्ग क्षेत्र है। इस प्रकार से अब पंजाब का पच्चास फीसद क्षेत्र सीमा सुरक्षा बलों के दायरे अधीन आ चुका है।