बड़ी खबर….बिना टैक्स की चलने वाली बसें होगी जब्त…..निजी प्रैक्टिस करने वाले डॉक्टर या  नौकरी छोड़ दें या फिर प्रैक्टिस दो में से एक विकल्प..अन्यथा होगी बड़ी कार्रवाई

एसएनई न्यूज़.चंडीगढ़।

पंजाब सरकार की तरफ से दो बड़ी खबर सामने आई। परिवहन मंत्री लाल जीत सिंह भुल्लर ने साफ तौर पर कह दिया है कि बिना कर के चलने वाली निजी बसों को जब्त किया जाएगा। बिना परमिट लंबे गंतव्य पर चलने वाले बसों के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई की जाएगी। पट्टी से ज्वाला-चिंतपूर्णी जैसे धार्मिक स्थल के लिए सरकारी बसें चलेंगी। बसें सिर्फ बस-अड्डा से ही रवाना होगी। बस-स्टैंड के बाहर निजी सरकारी बस खड़ा करने की किसी को अनुमति नहीं दी जाएगी। बेरोजगार युवाओं को बस परमिट पहल के आधार पर दिए जाएगे।  स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर विजय सिंगला ने कहा कि सरकारी डॉक्टर निजी प्रैक्टिस बंद कर दे। सरकारी डियुटी पर ध्यान दें। अन्यथा उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी। दो में से एक विकल्प चुन लें। डरने की कोई आवश्यकता नहीं है कोई विधायक, मंत्री, सिविल सर्जन पैसे नहीं मांगने की जरूरत करेगा। ईमानदार सरकार में हर किसी को ईमानदारी से काम करना होगा। 

परिवहन मंत्री लाल जीत सिंह भुल्लर सोमवार अपने विधानसभा क्षेत्र पट्टी के बस-अड्डा सरकारी कार्यालय पहुंचे। उनके साथ परिवहन सचिव सिवा सिंह थे। छोटे रूट के परमिट वाली निजी बस लंबे रूट पर चलाने वाले निजी बस परिवहन कंपनियों को चेतावनी दी कि अगर नियमों की किसी प्रकार से अनदेखी हुई तो परमिट तत्काल रद्द किया जाएगा। लंबित टैक्स निजी बस परिवहन कंपनी की बसों को जब्त किया जाएगा। बायोमेट्रिक तरीके से कर्मचारियों तथा अधिकारियों की प्रतिदिन हाजिरी लगेंगी। बेरोजगार युवाओं का खास ध्यान रखते हुए परिवहन विभाग की तरफ से पहल के आधार पर परमिट जारी किया जाएगा।

बस-अड्डा के बाहर निजी-सरकारी बस खड़ी करने की किसी को अनुमति नहीं होगी। बस ट्रैकिंग मॉनिटरिंग सिस्टम के तहत सरकारी बसों का चलन होगा। उनकी हर गतिविधि पर ध्यान दिया जाएगा। कितने समय पर बस-स्टैंड से बस रवाना हुई। कितनी देर रास्ते में रुकी तथा ढाबा में कहीं ज्यादा देर तो नहीं रुकी। बस की गति कितनी थी। इन सब का ध्यान विशेष तौर पर रखा जाएगा। इससे सरकारी आय तथा संभाल में काफी इजाफा होगा। अनुमान के मुताबिक लगभग 1300 सरकारी बसें इस प्रणाली के तहत अधीन है। 

पंजाब के स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर विजय सिंगला ने साफ संदेश सरकारी डॉक्टर के बीच दे दिया है। अब कोई निजी प्रैक्टिस नहीं चलने वाली है। अगर कोई करता है तो उसे छोड़ दे या फिर दोनों में से एक विकल्प को मान लें, अन्यथा कड़ी कार्रवाई की जाएगी। पिछली सरकारों का उदाहरण देते कहा कि पूर्व में हर जगह पैसे चलते थे तो सिस्टम उसी प्रकार से चला आ रहा था। अब सत्ता में ईमानदार सरकार आ चुकी है, इसलिए अब सब कुछ बदल चुका है। किसी डॉक्टर को तंग नहीं करेगा। ईमानदारी से काम करें। मंत्री पटियाला में एक सरकारी कार्यक्रम दौरान डॉक्टरों को संबोधित कर रहे थे।  मंत्री के इस संदेश से डॉक्टरों में हलचल मच चुकी है। क्योंकि 80 फीसद सरकारी डॉक्टर निजी प्रैक्टिस करते है। 

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