वरिष्ठ पत्रकार.होशियारपुर।
शीर्ष सिपाही को शहीद करने वाले गैंगस्टर सुखविंदर सिंह उर्फ राणा मंसूरपुर को मुठभेड़ दौरान मार गिराया। कितने दौर की फायरिंग हुई, पुलिस ने इस बारे पुष्टि नहीं की। पता चला है कि वह शिवालिक के घने जंगल में छिपा था। मुठभेड़ गांव बंगाला में हुई। शव कब्जे में ले लिया गया। उधर, शहीद पुलिस कर्मचारी अमृतपाल सिंह का सरकारी सम्मान के साथ अंतिम संस्कार उसके पैतृक गांव में कर दिया। विभाग ने 2 करोड़ आर्थिक मदद पीड़ित परिवार को देने की घोषणा की। इस बात की पुष्टि, पुलिस प्रमुख ने की। अवैध बेचने का धंधा गैंगस्टर करता था। पूर्व में कई आपराधिक मामले दर्ज है।
रविवार को सीआईए स्टाफ को सूचना मिली थी कि गैंगस्टर सुखविंदर सिंह राणा अवैध हथियारों को घर में छिपा कर बैठा है। किसी को सप्लाई करने का इरादा है। टीम ने दबिश दी तो गैंगस्टर ने फायरिंग कर दी। शीर्ष सिपाही अमृतपाल सिंह के सीने पर गोली लग गई। अस्पताल में इलाज दौरान दम तोड़ दिया। मौके से गैंगस्टर फरार होने में कामयाब रहा। शहर में चारों तरफ नाकाबंदी कर दी गई, ताकि वह किसी तरह से बच न निकल पाए।
सोमवार दोपहर को मोटरसाइकिल पर सवार होकर पेट्रोल भरवाने के लिए निकला। उसकी तस्वीर पेट्रोल पंप के सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई। सूचना मिली कि वह जंगलों में छिपा है। टीम ने उसका पीछा किया तो वह गांव भंगाला में छिप गया। पुलिस ने उसे ढूंढ लिया। चेतावनी दी गई कि वह आत्मसमर्पण कर दें, लेकिन उलटा पुलिस पर गोलियां दाग दी। जवाबी कार्रवाई में उसे गोली लगने से मौत हो गई। सूचना देने वाले के लिए 25 हजार का इनाम घोषित किया था।