
लेखक विनय कोछड़।
कश्मीरियत अवाम इस समय सुरक्षित महसूस कर रही हैं। वर्तमान राज्यपाल की नीतियों से खुश भी हैं। बेरोजगारी के मुद्दे पर बिल्कुल फेल भी हैं। महिला को अधिक अधिकार मिलने से केंद्र सरकार ने दिल जीत लिया, लेकिन, मुस्लिम पुरुष समाज इस फैसले से इतना खुश नहीं दिखाई दे रहा हैं। धारा-370 हटाने से लोगों को इतना फायदा तो नहीं हुआ। आतंक की गोली की वजह से बाहरी लोग व्यापार खोलने में कोई दिल्चस्पी भी नहीं दिखा रहे हैं। हथियार उठाने वाले आतंकी स्थानीय स्तर के ही हैं। 90 के दशक में उनके परिवार साथ सेना के बीच झूठे मुकाबले उनके जख्म नहीं भर पाए। इसलिए, आतंकी विचारधारा के साथ जुड़ गए। आम विचारधारा में वापस लौटना मुश्किल दी दिखाई दे रहा हैं। होटल तथा व्यवसाय की पुराने शकल को ही बदला गया। पुरानी सरकारों ने लोगों को पूरी तरह से लूटा तथा भ्रष्टाचार को बढ़ावा दिया। उनकी वजह से जन्नत की धरती नरक बन गई। चुनाव हो जाए मोदी सरकार जम्मू-कश्मीर में पूर्ण बहुमत के साथ सत्ता में आ सकती हैं। रविवार को केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर की आवाम ने एसएनई संवाददाता से अपनी आम प्रतिक्रिया जारी की।
बोलने की स्वतंत्रता खत्म हो चुकी हैं। किसी प्रकार से कोई प्रदर्शन तथा रैली करने का अधिकार नहीं हैं। अगर ऐसा कोई करता है तो 24 घंटा के भीतर कानूनी रुप से ठोस कार्रवाई हो जाती हैं। जेल की सलाखों के पीछे डाल दिया जाता हैं। स्वतंत्र विचारधारा वाले लोग, इस बात को लेकर केंद्र की नीति पर सवाल खड़े करते है तथा मांग भी करते हैं कि इसमें सुधार होना चाहिए। उनके मुताबिक, अन्य सूबे की तरह स्वतंत्रता हासिल होनी चाहिए। रोजगार के साधन खुलने चाहिए। सरकारी नौकरियों में इजाफा किया जाना चाहिए। पुरानी सरकारें रिश्वत देने वालों को नौकरी देती आई। युवा कश्मीर छोड़ विदेश में प्लायन कर रहा हैं। जिनके पास पैसा बिल्कुल नहीं है, वे सूबा पंजाब तथा दिल्ली की तरफ रुख कर रहे हैं। वहां पर मेहनत कर पैसा कमा घर भेज रहे हैं। नौकरी, बेरोजगारी खत्म जैसे कई दावे सिर्फ तो सिर्फ राष्ट्रीय मीडिया दिखा रहा हैं। जोकि, सरासर गलत हैं। झूठ फैलाया जा रहा हैं। सच्चाई सामने आनी चाहिए। आतंकवाद पुरानी सरकारों की नीतियों के वजह से फैला। हर राजनीति पार्टी झूठ बोल रही हैं। खासकर, क्षेत्रीय पार्टियां इस बात का खास प्रचार कर रही हैं।
आम कश्मीरी यह बिल्कुल नहीं चाहता है कि यहां पर किसी प्रकार से दंगे-फसाद तथा आतंकी गतिविधियों हों। उन्हें सिर्फ तो सिर्फ शांति, खुशी, रोजगार, नौकरी जैसे मुद्दों का सामाधान ही चाहिए। कमाई के लिए उनके बच्चों को अन्य सूबे में जाना पड़ा रहा हैं। पंजाब में बड़ी संख्या में यूथ प्लायन कर रहा हैं। रोजगार मिल रहा हैं। लेकिन, काम काफी मेहनत तथा सख्त है। कई जगह उन्हें शोषित भी होना पड़ता हैं। अगर उन्हें घर के पास हर प्रकार की सुविधा मिल जाए तो शायद उन्हें बाहर का रुख करने का मतलब नहीं रह जाता हैं। ऐसा संभन तब ही हो पाएगा, अगर सरकार नीतियों पर खरा उतरें। क्योंकि, दावा करने से सब कुछ संभव नहीं है। धारतल तौर पर उस पर खरा उतरना भी जरुरी हैं। भाजपा से कश्मीरियत आवाम अन्य पार्टियों से खुश तो हैं, लेकिन पार्टी को लोगों के दिल में जगह बनाने में थोड़ी कड़ी मेहनत करने की भी जरुरत हैं।