एसएनई नेटवर्क.दिल्ली।
ईरान सरकार सख्त हिजाब कानून के खिलाफ प्रतिरोध की आवाज को दबाने के लिए नए-नए हथकंडे अपना रही है। वह सार्वजनिक स्थानों पर जगह-जगह सीसीटीवी कैमरे लगा रही है, ताकि महिलाओं की निगरानी की जा सके। बीते कुछ महीनों पहले नैतिक पुलिस की हिरासत में एक युवती की मौत हो गई थी। इसके बाद देशभर में जगह-जगह प्रदर्शन हुए थे। दुनियाभर के मीडिया में इसको लेकर खूब चर्चा हुई थी। महिलाओं ने अपने बाल काटकर विरोध जताया था।
हिजाब पहनने के सख्त आदेश
इस देश में महिलाओं को लेकर सख्ती बरती जाती है। यहां महिलाओं को हिजाब पहनने के सख्त आदेश हैं। हिजाब को अनिवार्य ड्रेस कोड लागू किया गया है। हालांकि, ड्रेस कोड की सख्ती के खिलाफ महिलाएं सड़कों पर आने लगी हैं। इससे घबराकर ईरान सरकार ने सार्वजनिक स्थानों पर सीसीटीवी कैमरे लगवाने का फैसला किया।
नियम का उल्लंघन करने वालों को चेतावनी
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अधिकारियों ने बताया कि सीसीटीवी के जरिए महिलाओं को चिह्नित किया जाएगा और फिर उन्हें अनिवार्य ड्रेस कोड की अवहेलना करने पर सजा दी जाएगी। सार्वजनिक स्थानों और सड़कों पर कैमरे लग रहे हैं। पुलिस ने एक बयान में कहा कि उनकी पहचान होने के बाद नियम का उल्लंघन करने वालों को चेतावनी दी जाएगी।
इस घटनाक्रम के उपरांत शुरू हुआ विवाद
दरअसल, यह पूरा विवाद 22 वर्षीय ईरानी युवती महसा अमीनी की मौत के बाद शुरू हुआ। ईरान की पुलिस ने महसा को इसलिए हिरासत में ले लिया था, क्योंकि उसने सिर को हिजाब से ठीक से नहीं ढका हुआ था। महसा की पुलिस हिरासत में रहस्यमय तरीके से मौत हो गई थी। इसके बाद देशभर में हिंसक प्रदर्शन भी हुए। हिंसक झड़पों के दौरान कई लोगों की मौत भी हुई।
इस घटना के बाद से अनिवार्य ड्रेस का विरोध करने वाली महिलाओं की संख्या बढ़ती जा रही है। ऐसे में सरकार ने जगह-जगह सीसीटीवी कैमरे लगा दिए हैं।
वीडियो तेजी से हो रहा वायरल
ईरान का ही एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें महिलाओं बिना हिजाब के किसी दुकान के अंदर खड़ी हैं। इसी दौरान उन पर इसलिए हमला हुआ, क्योंकि उन्होंने हिजाब नहीं पहना हुआ था।