आस्ट्रेलिया सांसद ने सदन में रखा भगवान परशुराम का इतिहास

ब्राह्मण सभा ऑस्ट्रेल्या के समाज प्रति किए जा रहे कार्यों की सराहना की….हर संभव मदद का दिया भरोसा


नितिन धवन.पंजाब।

भगवान परशुराम पूरे विश्व बिरादरी में परिचित होने लगे हैं। अब इनकी प्रकटोत्सव भारत ही नहीं, विदेश में भी धूमधाम से मनाई जाने लगी है। खासकर, विदेश की धरती आस्ट्रेलिया में इस भगवान की प्रकटोत्सव खूब धूमधाम से हिंदू एवं अन्य जाति से संबंधित लोग मिलझुल कर मनाने लगें है। इतना ही नहीं, आस्ट्रेलिया की प्रथम हिंदू महिला सांसद कौशल्या वाघेला ने संसद में भगवान परशुराम के अवतार बारे जानकारी दी। इनकी वीरता तथा बहादुरी एवं अवतार का विस्तापूर्वक सभी को समझाया। हर कोई इनके जीवन बारे सुनकर काफी प्रभावित हुआ।

हिंदू बहुल क्षेत्र मेलबर्न में ब्राह्मण सभा ऑस्ट्रेल्या के अध्यक्ष ( प्रधान) चंद्र शर्मा के नेतृत्व में भगवान परशुराम जयंती काफी धूमधाम ने मनाई गई। इस बार मुख्यातिथि के तौर पर ( प्रथम हिंदू  महिला एमपी)  कौशल्या वाघेला शामिल रहीं। उन्होंने सभी को भगवान परशुराम जी के प्रकटोत्सव  की बधाई दी। कोंसलर सहाना रमेश( विंधम सिटी) ने पूजा और हवन में हिस्सा लिया और ब्राह्मण सभा ऑस्ट्रेल्या के द्वारा किए जा रहे समाज के लिए किए जा रहे कार्यों की सराहना की। कौशल्या वाघेला ने वालंटीर्ज़ को सर्टिफ़िकेट देकर सम्मानित किया।

chairman HP भारद्वाज ने सभा द्वारा किए जा रहे विभिन कार्यों को सब से अवगत  करवाया। कोर कमेटी के सदस्यों जिसमें डॉ. नवीन शुक्ला( सिड्नी) जीवन शर्मा( ऐडेलेड), विशाल शर्मा, तरुण क़ालिया, गुरदीप कुमार, हेमा शर्मा ने जन्मोत्सव में आए हुए सभी अतिथियों का स्वागत किया और भगवान परशुराम जी के हवन और पूजा की तैयारी की। इस अवसर एमपी कौशल्या वाघेला एवं कोंसलर सहाना रमेश ने सभा को बधाई और हर सम्भव सहयोग करने का वादा किया। माता की चौंकी में सतीश शर्मा और उनकी टीम ने भेंटे सुना कर सब को मंत्रमुग्ध किया। चंद्र शर्मा ने वेदिक ग्लोबल,  वेदिक कॉन्सेप्ट स्कूल और जेट ऑस्ट्रेल्या फ़ाउंडेशन का जन्मोत्सव में सहायता के लिए धन्यवाद किया। पंडित विकास वशिष्ठ जी ने विधिवत रूप से हवन करवाया। मंच का संचालन सोनिला शर्मा ( वेदिक कॉन्सेप्ट स्कूल) ने किया।

इस दौरान  देवेंद्र, राकेश रायज़ादा , यशपाल  वसुदेवा, अनिल मोंगिया, लोकेश शर्मा, दीपक कालिया, पवन ठाकुर, योगेश भट्ट, परसुराम शर्मा जेपी, रंजन श्रीवास्तव, विकास ऐरी, मधुरकांत, देविंदर अग्निहोत्री, विशांत शर्मा, बीर प्रकाश, आनंद डोगरा ने भी हिस्सा लेकर अपने-अपने विचार व्यक्त किए। 


कौन है…भगवान परशुराम….जानिए, इनका इतिहास विस्तार के साथ

  1. ऐसा मान्यता है कि भगवान परशुराम भगवान विष्णु के जी के 6वें अवतार के रूप में पृथ्वी पर अवतरित हुए थे।
  2. परशुराम ऋषि जमादग्नि तथा रेणुका के पांचवें पुत्र थे। ऋषि जमादग्नि सप्तऋषि में से एक ऋषि थे।
  3. परशुराम वीरता के साक्षात उदाहरण थे।
  4. हिन्दू धर्म में परशुराम के बारे में यह मान्यता है, कि वे त्रेता युग एवं द्वापर युग से अमर हैं।
  5. परशुराम की त्रेता युग दौरान रामायण में तथा द्वापर युग के दौरान महाभारत में अहम भूमिका है। रामायण में सीता के स्वयंवर में भगवान राम द्वारा शिवजी का पिनाक धनुष तोड़ने पर परशुराम सबसे अधिक क्रोधित हुए थे।
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