वरिष्ठ पत्रकार.चंडीगढ़।
चंडीगढ़ की दवा कंपनी पैराबोलिक ड्रग्स के खिलाफ एनफोर्समेंट डायरेक्टरेट (ED) ने कार्रवाई करते हुए उसकी 24 अचल संपत्तियों के अलावा कैश, लग्जरी कार, म्यूचुअल फंड, एफडीआर, बैंक बैलेंस को अटैच कर लिया है। इसकी कुल कीमत 82.12 करोड़ रुपए बताई जा रही है। ED ने यह कार्रवाई प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट 2002 के तहत की है। यह अटैच की गई सारी प्रॉपर्टी बैंक धोखाधड़ी से कमाए गए पैसे से की गई है। आरोपियों ने हरियाणा के अंबाला, सोनीपत से लेकर दिल्ली और गुड़गांव तक अपनी प्रॉपर्टी बनाई हुई है।
जानिए, किस एजेंसी ने किया था दर्ज मुकदमा
इस मामले में सबसे पहले CBI की तरफ से मुकदमा दर्ज किया था। इसके बाद ED ने इस पर कार्रवाई शुरू की थी। इन जब्त की गई सारी संपत्तियां कंपनी के मालिक प्रणव गुप्ता, विनीत गुप्ता और उनके चार्टर्ड अकाउंटेंट सुरजीत कुमार बंसल और उसके परिवार से संबंधित है। सीबीआई ने 2021 में यह मुकदमा दर्ज किया था। इसके बाद 2023 में ED की तरफ से अपनी कार्रवाई शुरू की थी। कंपनी पर 1626 करोड़ के बैंक लोन लेकर धोखाधड़ी का आरोप था।
कैसे लिया था लोन, जानिए
एजेंसी ने अदालत को बताया कि कंपनी के दोनों डायरेक्टरों ने फर्जी दस्तावेजों के आधार पर बैंक को धोखा देकर यह लोन लिया है और उसे लोन के पैसे को कही और अपनी संपत्तियों बनाने में उपयोग किया है। वहां बंसल ने अपनी चार्टर्ड अकाउंटेंसी फर्म एसके बंसल एंड कंपनी के माध्यम से पैराबोलिक ड्रग्स लिमिटेड को गलत प्रमाण पत्र जारी किए हैं।